चूत चुदवाने की प्यासी भाई की प्रेयसी
मुझे पता लगा कि भाई अपनी प्रेयसी को घर में चोदता है और एक बार मैंने उस दोनों को लंड चुसाई करते पकड़ लिया.. उसके बाद मेरे भाई की गर्लफ्रेंड कैसे मुझसे चुदी.. पढ़िए इस कहानी में !
अन्तर्वासना की हॉट हिंदी सेक्स कहानियाँ - Chudai ki Kahani, Audio Sex Story, XXX Stories and Adult Stories and More in Hindi
मुझे पता लगा कि भाई अपनी प्रेयसी को घर में चोदता है और एक बार मैंने उस दोनों को लंड चुसाई करते पकड़ लिया.. उसके बाद मेरे भाई की गर्लफ्रेंड कैसे मुझसे चुदी.. पढ़िए इस कहानी में !
मैं घर पहुँचा तो दरवाजा अन्दर से बन्द था, देर तक खटखटाने के बाद भी दरवाजा नहीं खुला और भाई फोन भी नहीं उठा रहा था। काफी देर बाद जब दरवाजा खोला तो मैंने देखा कि भाई परेशान था, गुस्से में था,
मेरी क्लास टीचर के साथ मेरे समलैंगिक सम्बन्ध हैं। टीचर ने भाई का लौड़ा फोटो में देखा, उसे बहुत पसंद आया और अब मेरी टीचर मेरे भाई से अपनी चूत चुदवाना चाहती है, मुझे मेरे भाई से बात करने के लिए बोला है।
मेरी एक सहेली शशि मेरे पति विमल की चचेरी बहन है, शशि का पति विमल का दोस्त है, शशि पूरी चुदक्कड़ है, उसने जीजा साली, बहन भाई की चुदाई में कैसे शामिल किया... इस कहानी में...
चुदक्कड़ शशि मेरे पति विमल की चचेरी बहन, उसका पति विमल का दोस्त है, उसने हम चारों जीजा साली, बहन भाई की चुदाई में कैसे शामिल किया... मुझे उसके पति से चुदने को कैसे राजी किया, खुद अपने भाई से कैसे चुदी...
चुदक्कड़ शशि मेरे पति विमल की चचेरी बहन, उसका पति विमल का दोस्त है, उसने हम चारों जीजा साली, बहन भाई की चुदाई में कैसे शामिल किया, मुझे उसके पति से चुदने को कैसे राजी किया, खुद नंगी होकर अपने भाई से कैसे चुदी...
यह कहानी एक लड़के और उसकी बड़ी बहन की आपस में चुदाई की है... एक दिन भाई जसप्रीत और उसकी बहन लवलीन घर में अकेले थे... जसप्रीत अन्तर्वासना की कहानियां पढ़ कर मुठ मारने बाथरूम में चला गया और लवलीन ने उसे मुठ मारते पकड़ लिया... आगे देखिये क्या होता है?
वो एकदम से जाकर बिस्तर पर अपने घुटने मोड़ कर जांघें फ़ैला कर लेट गई, मैंने उसके दोनों घुटने पकड़ कर और फ़ैला दिये, ऐसा करने से उसकी चूत के जो होंठ चिपके हुये थे, वो खुल गये और अन्दर से गुलाबी लाल कच्चा मांस सा दिखाई देने लगा।
मेरा बचपन कुछ ऐसे बीता कि मैं अकसर अपनी बुआ की बेटी के साथ रहा… उसका शुरू से ही मुझसे बहुत लगाव था और मैं भी उसको बहुत चाहता था। उस समय हम दोनों के मन में कोई और भावना नहीं थी। वो जब आती तो मेरे साथ ही रहती थी, हम लोग साथ खाते और साथ में ही सोते थे। लेकिन उम्र के साथ हमारा प्यार बढ़ता गया और उसका रूप भी बदलता गया और हम भाई बहन से प्रेमी प्रेमिका बन गए।
मेरा बचपन कुछ ऐसे बीता कि मैं अकसर अपनी बुआ की बेटी के साथ रहा… वो जब आती तो मेरे साथ ही रहती थी, हम लोग साथ खाते और साथ में ही सोते थे। लेकिन उम्र के साथ हमारा प्यार बढ़ता गया और उसका रूप भी बदलता गया और हम भाई बहन से प्रेमी प्रेमिका बन गए। फिर एक दिन ऐसा आया कि हम दोनों ने सारी हदें पार कर दी और एक दूसरे में समा गए...
हमारे बगल वाले फ्लैट में नया परिवार आया, भाभी अकेले रहने की वजह से गुस्से में रहती थी। एक दिन वो बाज़ार से आई तो मैं उनका सामान उनके घर में पहुँचाने गया...
हमने काफी दिन से ग्रुप सेक्स नहीं किया था तो मैंने अपनी बीवी से पूछा कि किसी नए लंड से चुदना है? तो उसने अपने चचेरे भाई का नाम लिया.. हमने उसे बुला लिया..
मैंने बीवी की नए लंड से चुदने की इच्छा पूरी करने के लिये उसके चचेरे भाई को बुला लिया.. उसे सेक्स के खेल मे उलझाया और हमने मेरी बीवी की गान्ड और चूत मारी।
यह कहानी पड़ोसी मुल्क से एक लड़की की है, वो अपने शौहर के साथ शहर में मस्ती से रहती है, सेक्स का मज़ा लेती है। तभी उसकी ननद पढ़ने के लिये गाँव से उसके पास आती है
एक दिन मेरी ननद जाहिरा गिर गई। हम उसे कमरे में लाए, मैं उसकी सलवार ऊपर सरका कर उसके पैर पर दवा लगाने लगी तो मेरे शौहर उसकी गोरी चिकनी जांघ को घूरने लगे।