मेरा गुप्त जीवन- 141
रति की भाभी से अनुमति लेकर कम्मो ने रति की सीलबन्द चूत के प्रथम समागम की तैयारी कर ली, उसने रति को एक दवा पिलवाई और रति कामातुर होकर मेरे घर आकर मुझसे लिपट गई।
अन्तर्वासना की हॉट हिंदी सेक्स कहानियाँ - Chudai ki Kahani, Audio Sex Story, XXX Stories and Adult Stories and More in Hindi
रति की भाभी से अनुमति लेकर कम्मो ने रति की सीलबन्द चूत के प्रथम समागम की तैयारी कर ली, उसने रति को एक दवा पिलवाई और रति कामातुर होकर मेरे घर आकर मुझसे लिपट गई।
हमारे दूर के एक रिश्तेदार की बेटी हमारे यहाँ पढ़ने के लिए आई। वो जवान थी। उसके साथ मैंने कैसे चुदाई करना सीखा, बस यही है इस कहानी में!
मेरी बड़ी बहन बहुत सेक्सी है, मैं उसे चोदना चाहता था। मैंने उसकी एक पुरानी सहेली के नाम से फ़ेसबुक आईडी बनाई और उसकी अन्तर्वासना को जगाया। उसके बाद उसने नहाते हुए खुद अपना नंगा बदन मुझे दिखाया और चुदने के लिये मेरे कमरे में आई।
मैंने नीचे आकर उसकी पैन्टी निकाल दी, उसकी चूत पूरी गीली हो गई थी। मैं उसकी चूत चाटने लगा, मेरा मुँह चूत पर लगते ही वो उछल गई। मैं उसकी चूत में जहाँ तक हो सका.. जीभ डालकर चाटने लगा था। वो काबू से बाहर हो रही थी।
निधि बड़ी मुश्किल से लौड़े को चूस पा रही थी.. क्योंकि इतना बड़ा लौड़ा पूरा उसके गले तक जा फँसा था। दस मिनट तक अर्जुन बड़ी बेरहमी से निधि के मुँह को चोदता रहा.. उसकी आँखे लाल हो गईं.. और आँसू भी आ गए..
मेरे दफ्तर की लड़की से मेरा चक्कर चला तो वो मुझे पाने घर ले गई लेकिन उसकी मम्मी ने हमें रंगेहाथ पकड़ लिया. उन्होंने अपनी बेटी को एक कमरे में बंद कर दिया लेकिन मुझे अपने कमरे में ले गई!
पिंकी मेरे जींस पर अपने हाथ से सहला रही थी। फिर पिंकी ने मेरी जींस को उतार दिया और अंडरवीयर के ऊपर से ही मेरे लंड को सहलाने लगी। मैं भी अब उसकी सलवार के ऊपर से ही उसकी चूत को सहला रहा था और साथ ही लबों को चूम रहा था।
सुबह पांच बजे मैंने रवि को सोते से उठा दिया, फोन की घंटी से राज भी उठ गया था, रवि ने फोन का स्पीकर खोल दिया। मैंने रवि से कहा- यार, पूरी रात तुम्हारा लंड याद आता रहा, एक बार मेरी चूत में डाल दो न डार्लिंग!
मुझे अपनी ट्यूशन वाली मैडम सेक्सी लगती थी, मैं उन्हें चोदने की तमन्ना रखता था। इस कहानी में पढ़िये कि अपनी मैडम को चोदने के लिये लिये मैंने क्या तिकड़म लड़ाई।
मैं ऋतु.. अन्तर्वासना पर मैं आपको अपनी चूत की अनेकों चुदाईयों के बारे में बताऊँगी लेकिन सबसे पहले अपने चचेरे भाई से अपनी कुंवारी चूत के उद्घाटन की बात बता रही हूँ, आनन्द लीजिएगा।
पायल ने अपनी जीभ की नोक से भाई के लंड के ऊपर से निकले पानी की बूँद को उठाया और पुनीत के मुँह में अपनी जीभ घुसेड़ दी.. तो पुनीत झट से उसकी जीभ को चूसने लगा।
मैंने पिंकी को खड़ा कर दिया और उसका मुँह दीवार की तरफ करके उसकी गाण्ड में थूक लगा कर.. पिंकी की गाण्ड में लण्ड को ठेल दिया.. पर अभी भी पिंकी की गाण्ड कसी हुई थी।
मैं दस दिन से भूखी थी तो लीना बीस दिन से! जल्दी ही हमारे बाकी कपड़े भी उतर गये, हम 69 के अंदाज में आकर एक दूसरी की चूचियाँ चूसने लगी। थोड़ी ही देर बाद हमारे शरीर सरके और एक दूसरे की चूत हमारे मुँह के सामने थीं।
रात में भीड़ भरी ट्रेन में एक लेडी मेरे साथ खड़ी थी टॉयलेट के पास.. एक बो बार मेरा हाथ उसके मम्मों से छुआ तो उसने कुछ नहीं कहा बल्कि मुझसे बात करने लगी. मैं तो शुरू हो गया.
मैं और मेरा चचेरा भाई घर में अकेले थे, भाई ने मुझे अपनी गर्लफ्रेंड बना लिया और अब हम सुहागरात मनाने की तैयारी कर चुके थे, भाई ने पूछा कि मैं पहले चुद चुकी हूँ तो मैंने बताया कि मैं कुंवारी हूँ !