मेरी सासू माँ हुई हमबिस्तर-2

मैंने सासू माँ की पेंटी धीरे से सरका कर हटा दी, उनको उल्टा लिटाया बैठी हुई घोड़ी के स्टाइल से. मैं सासू के पीछे बैठ गया और सासू माँ की गुदा को देखने लगा.

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नया साल नया माल

हैलो दोस्तो, नमस्कार और नव वर्ष की ढेर सारी शुभ कामनाएँ ! मैं कामना करता हूँ कि आप सबके जीवन में यह नया साल नई जवानी, नया जोश व नए खूबसूरत जवान साथी लेकर आए जिससे आपकी जवानी के गुलशन में नया बसंत आए और आपको नित नई ऊर्जा मिलती रहे। दोस्तो, अब आते हैं […]

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कमाल की हसीना हूँ मैं-1

मैं सलवार कमीज़ में आती, ऑफिस में ड्रेस बदल के स्कर्ट ब्लाऊज़ और ऊँची हील के सैंडल पहन लेती। मेरे ब्रा में कैद बूब्स और पीछे वाले को अपनी पैंटी के जलवे दिखाती

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कमाल की हसीना हूँ मैं -2

खैर अगले दिन से मैं अपने काम में जुट गई। धीरे धीरे उनकी अच्छाइयों से रूबरू होती गई। सारे ऑफिस के स्टाफ मेम्बर उन्हें दिल से चाहते थे। मैं भला उनसे अलग कैसे रहती। मैंने इस कंपनी में अपने बॉस के बारे में उनसे मिलने के पहले जो राय बनाई थी उसका उल्टा ही हुआ। […]

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कमाल की हसीना हूँ मैं -3

‘देखो तुम मेरे बेटे से मिलो, उसे अपना बॉय फ्रेंड बना लो। बहुत हेंडसम है वो। मेरा तो अब समय चला गया है तुम जैसी लड़कियों से फ्लर्ट करने का…’ उन्होंने मुझे अपनी गोद से उठाते हुए कहा- देखो यह ऑफिस है। कुछ तो इसकी तहज़ीब का ख्याल रखा कर। मैं यहाँ तेरा बॉस हूँ। […]

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कमाल की हसीना हूँ मैं -4

मैं जावेद को उत्तेजित करने के लिये कभी-कभी दूसरे किसी मर्द को सिड्यूस करने लगती। उस शाम तो जावेद में कुछ ज्यादा ही जोश आ जाता। खैर हमारा निकाह जल्दी ही बड़े धूमधाम से हो गया। निकाह के बाद जब ताहिर अज़ीज़ खान जी दुआ देते हुए अपने सीने से लगा लिया तो इतने में […]

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कमाल की हसीना हूँ मैं -5

उन्होंने मेरे निप्पल को अपनी उँगलियों से छूते हुए मेरे कान में कहा- बाई गॉड… बहुत सैक्सी हो। अगर तुम्हारा एक अंग ही इतना लाजवाब है तो जब पूरी नंगी होगी तो कयामत आ जायेगी। जावेद खूब रगड़ता होगा तेरी जवानी। साला बहुत किस्मत वाला है। तुम्हें मैं अपनी टाँगों के बीच लिटा कर रहूँगा।’ […]

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कमाल की हसीना हूँ मैं -6

दोनों जोड़े वहीं अलग-अलग कंबल और रज़ाई में घुस कर बिना कपड़ों के ही अपने-अपने पार्टनर से लिपट कर सो गये। मैं और समीना आपा बीच में सोये थे और दोनों मर्द किनारे की ओर सोये थे। आधी रात को अचानक मेरी नींद खुली। मैं ठंड के मारे टाँगों को सिकोड़ कर सोई थी। मुझे […]

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कमाल की हसीना हूँ मैं -7

जावेद की नींद खुल गई। वो पेशाब करने उठा था। हम दोनों की हालत तो ऐसी हो गई मानो सामने शेर दिख गया हो। सलमान सोफ़े के पीछे छिप गया। मैं कहीं और छिपने की जगह ना पा कर बेड की तरफ़ बढ़ी। किस्मत अच्छी थी कि जावेद को पता नहीं चल पाया। नींद और […]

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कमाल की हसीना हूँ मैं -8

मेरे जिस्म पर कपड़ों का होना और ना होना बराबर था। सलमान ने एक तस्वीर इस मुद्रा में खींची। तभी बाहर से आवाज आई… ‘क्या हो रहा है तुम तीनों के बीच?’ मैं आपा की आवाज सुनकर खुश हो गई। मैं जावेद की बाँहों से फ़िसलकर निकल गई। ‘आपा… समीना आपा देखो ना ! ये […]

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कमाल की हसीना हूँ मैं -9

शुरू-शुरू में तो मुझे बहुत शर्म आती थी। लेकिन धीरे-धीरे मैं इस माहौल में ढल गई। कुछ तो मैं पहले से ही चंचल थी और पहले गैर मर्द, मेरे ननदोई ने मेरे शर्म के पर्दे को तार-तार कर दिया था। अब मुझे किसी भी गैर मर्द की बाँहों में जाने में ज्यादा झिझक महसूस नहीं […]

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कमाल की हसीना हूँ मैं-10

मैं उनका हाथ थाम कर बिस्तर से उतरी। जैसे ही उनका सहारा छोड़ कर बाथरूम तक जाने के लिये दो कदम आगे बढ़ी तो अचानक सर बड़ी जोर से घूमा और मैं हाई-हील सैंडलों में लड़खड़ा कर गिरने लगी। इससे पहले कि मैं जमीन पर भरभरा कर गिर पड़ती, फिरोज़ भाईजान लपक कर आये और […]

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कमाल की हसीना हूँ मैं-11

मैं काफी उत्तेजित हो गई थी। जावेद इतना फोर-प्ले कभी नहीं करता था। उसको तो बस टाँगें चौड़ी करके अंदर डाल कर धक्के लगाने में ही मज़ा आता था। उन्होंने मेरी टाँगें पकड़ कर नीचे की ओर खींचा तो मैं बिस्तर पर लेट गई। अब उन्होंने मेरी दोनों टाँगें उठा कर उनके नीचे दो तकिये […]

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कमाल की हसीना हूँ मैं-12

मैं सैक्स की भूखी किसी चुदक्कड़ वेश्या की तरह छटपटा रही थी उनके लंड के लिये। “एक मिनट ठहरो।” कहकर उन्होंने मेरा गाउन उठाया और मेरी चूत को अच्छी तरह साफ़ करने लगे। यह जरूरी भी हो गया था, मेरी चूत में इतना रस निकला था कि पूरी चूत चिकनी हो गई थी। उनके इतने […]

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कमाल की हसीना हूँ मैं-13

दोनों भाइयों ने लगता है दूध की बोतलों का मुआयना करके ही निकाह के लिये पसंद किया था। नसरीन भाभी के निप्पल काफी लंबे और मोटे हैं, जबकि मेरे निप्पल कुछ छोटे हैं। अब हम चारों एक दूसरे की जोड़ी को निहार रहे थे। पता नहीं टीवी स्क्रीन पर क्या चल रहा था। सामने लाईव […]

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