सविता भाभी और पार्टी
सविता भाभी अपने पति के साथ उसके दफ्तर की एक साथी लता के घर खाने पर गए. सविता वहाँ बोर हो रही थी कि सविता की नजर लता के पति पर पड़ी. उसे मौक़ा मिल गया.
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सविता भाभी अपने पति के साथ उसके दफ्तर की एक साथी लता के घर खाने पर गए. सविता वहाँ बोर हो रही थी कि सविता की नजर लता के पति पर पड़ी. उसे मौक़ा मिल गया.
मैं यह अनुभव से कह सकती हूँ कि अगर पति पत्नी दोनों की स्वीकृति हो तो ग्रुप सेक्स या पार्टनर्स बीवियाँ और पति बदल कर सेक्स दुनिया की सबसे आनन्ददायक चीज़ है।
पूजा की मस्त चुदाई के बाद उसकी गांड मारने का मूड बन गया था। मैंने कामोत्तेजक गोली खा कर उसकी आज रात को गांड कैसे मारी, पढ़िए इस भाग में!
मन में यह डर भी है कि जब मेरी शादी होगी तो उसके बाद क्या होगा? और कैसे मैं अपनी पत्नी को खुश रख पाऊँगा? मैं अपनी बीवी के साथ सम्भोग कर भी पाऊंगा या नहीं?
मुझे एक पल भी नहीं लगा कि तूने मुझे सेक्स के इंटेन्शन से किया हो मुझे यूज किया हो.. बस ऐसा फील हुआ कि तू मुझे प्यार कर रहा है और मैं भी तेरा साथ देती गई।
दिमाग में भरे हुए इस कचरे को निकाल फेंको कि हम कोई सामाजिक मर्यादा या वर्जना तोड़ रहे हैं। हम वे विकल्पहीन औरतें हैं जिनके पास चुनने के लिये कुछ है ही नहीं।
सविता भाभी एक शाम अपने पति अशोक के साथ आराम से बैठ कर टीवी देख रही थीं कि उसके चचेरे भाई का फोन आया, वो आ रहा था. भाभी को याद आया कि कैसे उस भी ने सविता की कुंवारी चूत चोदी थी.
नाना जी नानी की टांगों के बीच हाथ डालकर सहला रहे थे। करीब दस मिनट के बाद नाना बा के ऊपर चढ़ गए और अपने लंड को बा की चूत में घुसाने लगे।
दीदी की विदाई के बाद मुझे नींद आने लगी। मैं सोने के लिये अन्दर गया तो एक लडकी भी सोने की जगह तलाश रही थी। हम दोनों जैसे कैसे लेट गये पर ठण्ड लग रही थी और लड़की साथ में थी।
मेरी पत्नी को जब भी चुदना होता था तो कैसे न कैसे मुझे चुदाई के लिए मना ही लेती थी, और जब मूड नहीं होता था तब भी मेरे लिये बहुत खुश होकर उछल उछल कर बिल्कुल छिनाल की तरह चुदती थी।
इस कहानी में वो है समाज में जिसका मज़ाक उड़ाया जाता है, जिसके यार-दोस्त उस पर हंसते हैं.. क्योंकि वो आम लड़कों जैसा नहीं है.. उसके हाव-भाव लड़कियों जैसे हैं।
दोनों बहनें साथ ही चाचा के कमरे में पहुंची थीं जहां चाचा अपना स्थूलकाय लिंग पाजामे से बाहर निकाले दरवाज़े की तरफ देख रहा था। 'आज करें क्या चाचा के साथ?'
सविता भाभी के घर में नया बांका जवान नौकर आया, वो भाभी को एक नजर में भा गया। उसने भाभी को बताया कि उसे मालिश करनी आती है तो भाभी की बांछें खिल गई।
गार्मेन्ट्स शोरूम पर मैनेजर लड़की से मुझे ऑफ़िस के काम से बात करनी होती थी। उससे मेरी दोस्ती हो गई और एक दिन मैंने उसे मिलने के लिये कहा। वो मान गई।
बाबाजी के घंटे का आप सभी को प्रणाम। यह कहानी है पूरी वासना से भरी हुई- वासना ऐसी जो कि कभी खत्म ना हो , तो दोस्तो अपने अपने लंड और चूत को निकाल लीजिए और रगड़ना शुरू कर दीजिये।