शादी में जीजा जी ने कस कर चोदा

(Xxx Mastram Ki Kahani)

Xxx मस्तराम की कहानी में मेरा एक दोस्त मुझे चोद रहा था कि ऊपर से मेरे जीजा जी आ गए. मैं नंगी पड़ी थी तो जीजा जी ने भी अपना लंड निकाल के मेरे मुंह में घुसा दिया.

मेरे प्यारे पाठको,
मेरी पिछली कहानी
शादी में बेस्ट फ्रेंड ने गर्म करके चोद दिया
में आपने पढ़ा कि मेरा एक दोस्त था असीम. मेरा एक बॉयफ्रेंड भी था जिससे मैं चुदाई का मजा लेती थी.
लेकिन एक रात एक शादी के बाद मेरे दोस्त असीम मुझे गर्म करके चोदने लगा.
हमारी चुदाई पूरी ही हुई थी कि हमारे कमरे का दरवाजा खुला और हम डर गए.

यह कहानी सुनें.

अब आगे Xxx मस्तराम की कहानी:

तभी अचानक से दरवाजा खुला और …
कमरे का दरवाजा किसने खोला … कौन था वहां?

वे मेरे जीजा जी थे और वे हमें सेक्स करते देख रहे थे।

असीम ने अपना लंड जल्दी से मेरी चूत से निकाला जिससे मेरी कराह निकल गयी।

अभी सुबह के करीब 4:30 हो गए होंगे।

जीजा को देख कर हम दोनों बहुत डर गए।
जीजा जी बोले– असली मज़ा तो तुम दोनों ले रहे हो, हम तो शादी में ऐसे ही परेशान हो रहे हैं।

फिर जीजा जी ने दरवाजा बंद कर दिया।
वे मुझे बोले– साली, मुझे भी शामिल कर ले वरना मैं सब को बता दूंगा कि तुम दोनों क्या कर रहे थे।

मैं जीजा जी से माफ़ी मांगने लगी पर वे नहीं माने।

तब मैंने थक–हार कर जीजा जी से पूछा– अगर दीदी को पता चल गया तो?
तब वे बोले– तुम्हारी दीदी को नहीं पता चलेगा कभी!

फ़िर वे मुझे अपनी तरफ खींच कर मुझे चूमने लगे।
मैंने उनकी पकड़ से छूटने की कोशिश की पर छूट नहीं पाई।

वे चुंबन के साथ-साथ मेरी गांड पर भी हाथ फेरने लगे।
मैंने जीजा जी के सामने पूरी नंगी थी।

वे मुझे चूमना छोड़ कर बोले– तेरी चूचियां तो तेरी दीदी से भी बड़ी हैं। वैसे मैं तुम्हें अभी तक तुम बच्ची ही समझता था।

फ़िर जीजा जी असीम को बोले– तू भी आ जा, मज़े ले! यह सेक्सी ही इतनी है कि अपने आप पर कोई काबू ही नहीं रख पाएगा।

इस बात को सुन कर असीम हँसने लगा।
अब वह आकर मेरी चूचियों को सहलाने लगा।

अब एक साथ दो मर्द के हाथ मेरी शरीर पर थे।
मुझे बहुत मज़ा आ रहा था।

फ़िर मुझे नीचे बिठा कर जीजा जी ने अपने लंड को बाहर निकाला।
जीजा जी का लंड असीम के लंड जितना ही होता है।
बस मामूली फर्क था दोनों के लंड में!

जीजा जी का भी मैं सिर्फ लंड का टोपा ही मुंह में ले पाई।
कुछ देर बाद जीजा जी मेरी चूत चाटने लगे।
फ़िर असीम मुझे अपना लंड चुसवाने लगा।

मुझसे अब रहा नहीं गया तो मैंने जीजा जी से अंदर डालने के लिए कहा।
जीजा जी ने अपना लंड धीरे–धीरे मेरी चूत में अन्दर डाल दिया।
लंड अंदर जाने पर मुझे बहुत दर्द होता है क्योंकि दोनों की आकार अलग–अलग था।

फ़िर जीजा जी रफ़्तार से मेरी चुदाई करने लगे।
इधर असीम मुझे अपना लंड चुसवाने लगा।

फ़िर असीम लेट गया और मैं उसके ऊपर आकर उसके लंड को अपनी चूत में डाल कर धीरे–धीरे नीचे होने लगी ताकि असीम का लंड आराम से मेरी चूत में पूरा चला जाये।

जीजा जी मेरे चेहरे के सामने आकर मुझे लंड चुसवाने लगे।

कुछ देर बाद फ़िर जीजा जी पीछे आकर मेरी गांड को देखने लगते हैं और उसे सहलाने लगे।

फ़िर जीजा जी ने अपनी एक उंगली मेरी गांड में डाल दी।
मुझे दर्द हुआ।

जीजा जी ने पास में रखी तेल की बोतल से तेल लेकर मेरी गांड के छेद में तेल लगाया।
फ़िर उन्होंने अपने लंड पर भी तेल लगाया।

मैंने उनसे विनती की– प्लीज, गांड में मत डालना!
इतने में असीम मुझे जोर से पकड़ लिया और मुझे चूमने लगा।
असीम ने मुझे बहुत कस कर पकड़ा था इतना कि मैं हिल तक नहीं पाई।

उधर जीजा जी मेरी गांड में अपने लंड को डालने की कोशिश करने लगे।
मुझे बहुत दर्द हो रहा था पर मैं हिल भी नहीं सकी क्योंकि असीम ने ऐसे पकड़ा ही हुआ था।

जीजा जी ने मेरी गांड में धीरे–धीरे अपना लंड डाल दिया जो कि बहुत ज्यादा टाइट जा रहा था।
तब जीजा जी ने और तेल मेरी गांड के छेद पर गिरा दिया तब जाकर मेरा दर्द कम हुआ।

अब मैं सच बताऊं तो मुझे काफी मज़ा आ रहा था।
पर मुझे दर्द भी हो रहा था साथ में!

कभी दोनों लंड मेरी चूत और गांड में एक साथ अंदर जा रहे थे तो कभी एक अंदर जाता है और एक बाहर आता।

सच मैं मैंने कभी सोचा भी नहीं था कि मैं एक साथ दो लंड लूंगी।
पर आज मुझे पता चला कि लोग एक से बढ़ कर दो क्यों बोलते हैं।

मुझे बहुत मज़ा आ रहा था।
मैं सोचने लगी कि ये दोनों मुझे ऐसे ही चोदते रहें हमेशा।

फ़िर असीम का पानी मेरी चूत में निकल गया और लंड की सफेद वीर्य से मेरी चूत पूरी भर गयी।
पर मैं उसके ऊपर ही लेटी रही।

कुछ देर बाद जीजा जी का भी निकलने वाला था तो वे जल्दी मेरे चेहरे के पास आये और अपना सारा रस मेरे मुंह में डाल दिया।
फ़िर कुछ देर तक उन्होंने मुझे अपना लंड भी चुसवाया।

मैं बहुत ज्यादा थक चुकी थी।
फ़िर वे दोनों अपने–अपने कपड़े पहनने लगे।

मैं वैसे ही लेटी रही।
मुझसे खड़ा भी नहीं हुआ जा रहा था।

जीजा जी और असीम ने मुझे बुरी तरह से थका दिया था।
इतना तो मैं अपने बॉयफ्रेंड के साथ एक दिन में 4 बार करने पर भी नहीं थकी थी।

फ़िर वे दोनों कमरे से बाहर निकल गए।

तभी दीदी मुझे आवाज़ लगाने लगी।
तो मैं जल्दी से कपड़े पहनने लगी।

नीचे मेरी चूत से असीम का रस भी निकल रहा था जिसे मैं जल्दी में साफ़ नहीं कर पाई।
कपड़े पहनने के बाद भी उसका रस मेरी पैंटी को गीला कर रहा था।

मेरी गांड और चूत मुझे खाली–खाली लग रही थी।

जब मैं बाहर गयी तो नीचे मुझे असीम दिखा।
वह मुझे देख कर हँसने लगा पर मैं उससे कुछ नहीं बोली।

सच यह है कि उसकी चुदाई से मैं उस पर फ़िदा हो गयी थी।
काश मैं उसे पहले ही अपना बॉयफ्रेंड बना लेती।

तभी वह मेरे पीछे किचन में आकर मुझे पकड़ कर लम्बा और जोरदार चुम्बन करने लगा।
साथ में वह मेरी गांड पकड़ कर सहलाने लगा।

फ़िर वह अपने घर चला गया।
मैं सिर्फ उसके बारे में सोचने लगी।

इतने में जीजा जी आ गए।
वे भी मुझे पकड़ कर चूमने लगे और मेरी चूचियों को बहुत कस कर दबाने लगे।

कुछ देर मजे लेने के बाद वे भी चले गए।

सच में दीदी बहुत खुशनसीब है जो उनको ऐसा पति मिला।
मेरा दिल इन दोनों पर आ गया था।

चुदाई से मेरी चाल बदल गयी थी।
कुछ देर बाद सब अपने–अपने घर चले गए।

अगली रात को जब मैं सो रही थी तो सिर्फ मुझे असीम का लंड याद आने लगा।
मेरी चूत असीम के याद में पानी छोड़ने लगी।

इतने में ही उसका कॉल आ गया।
हम दोनों बात करने लगे।

बचपन से हम दोनों दोस्त थे इसलिए मुझे चुदाई के बात करने में बहुत शर्म आ रही थी।

वह मुझसे माफ़ी माँगने लगा और बोला– आज जो हुआ, मुझे वह सब नहीं करना चाहिए था। जबकि मुझे पता है कि तेरा बॉयफ्रेंड भी है।
फ़िर मैं उससे बोली– कोई नहीं, अब तुम भी मेरे बॉयफ्रेंड ही बन गए हो! मुझे सच में बहुत ज्यादा मज़ा आया और मैं तुम पर फ़िदा हो गयी हूँ।

ऐसे ही हम दोनों धीरे–धीरे सेक्सी बातें कर के अपने आपको शांत करने लगे।
फ़िर हम सुबह में कहीं घूमने का प्लान बनाने लगे।

उसने ऑनलाइन होटल भी बुक कर लिया रात में ही।

अपनी अगली कहानी में मैं बताऊंगी कि असीम ने मुझे कैसे चोदा मेरे घर आकर!
फ़िर उसने मुझे अपने दोस्त से भी चुदवाया था।

पहली चुदाई के बाद मेरे जीजा जी भी मेरी चुदाई करने लगे थे।

एक दिन मेरे भाई ने मुझे असीम के साथ चुदाई करते देख लिया।
फ़िर कैसे मैंने भाई का मुंह बंद करने के लिए उसके साथ भी सेक्स किया।

लेकिन आज की कहानी में सिर्फ इतनी ही।

मुझे आशा है कि आपको मेरी Xxx मस्तराम की कहानी अच्छी लगी होगी.
मुझे मेल और कमेंट करके बताएं।
धन्यवाद!
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