जीजा ने मेरा जिस्म जगाया-3

प्रेषिका : नीना पता नहीं जीजा इन कामों में कितना हरामी था, बोला- क्या बात है, आज तेरी चाल में फर्क है? “नहीं तो? तुम भी जीजा जो मर्ज़ी बोलते हो?” “साली, जिंदगी देखी है ! बोल यार के नीचे लेटकर आई हो ना?” “शटअप जीजू ! आप भी न !” “साली कपड़े देख अपने […]

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जीजा ने मेरा जिस्म जगाया-4

प्रेषिका : नीना अचानक उन्होंने अपने हाथ में लेकर मुठ मारनी चालू की और मेरे बालों को नोंचते दबा कर पूरा माल मेरे मुँह में निकाल दिया। “जीजा, यह क्या मुझे उलटी हो जायेगी !” “कुछ नहीं होगा, रात को तेरे कमरे में आऊँगा !” “मगर दीदी?” “उसके दूध में नींद की गोली मिला दूँगा, […]

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मासूम यौवना-2

मैंने दसवीं की परीक्षा दी और गर्मियों की छुट्टियों में फिर ससुराल जाना पड़ा। इस बार मेरे पति स्वाभाव कुछ बदला हुआ था, वो इतने बेदर्दी से पेश नहीं आये, शायद उन्हें यह पता चल गया कि यह मेरी ही पत्नी रहेगी। मैं इस बार 4-5 दिन ससुराल में रुकी थी पर वे जब भी […]

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मासूम यौवना-3

लेखिका : कमला भट्टी फिर मेरे पति वापिस चेन्नई चले गए तो मैंने भी स्कूल छोड़ दी और पीहर आ गई ! जब भी मेरे बड़े जीजाजी अजमेर आते तो मुझसे हंसी मजाक करते थे, मैं मासूम थी, सोचती थी कि मैं छोटी हूँ इसलिए मेरा लाड करते हैं। वे कभी यहाँ-वहाँ हाथ भी रख […]

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मासूम यौवना-4

मासूम यौवना-3 से आगे : रात के ग्यारह बज गए थे, जीजाजी को नींद आ गई थी, मैं भी सोने की कोशिश करने लगी और मुझे भी नींद आ गई ! रात के दो ढाई बजे होंगे कि अचानक मेरी नींद खुली, मुझे लगा कि मेरे जीजा जी मेरी चूत पर अंगुली फेर रहे हैं। […]

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मासूम यौवना-5

जिसने कभी किसी पर-पुरुष को देखा नहीं, उसने 2010 जब 30 साल की थी तब जीजाजी जो 46 साल के थे उनको कैसे समर्पित हो गई। सब वक़्त की बात है। अब तक मेरे कमरे का दरवाजा खुला ही था। पहले जीजाजी बाथरूम जाकर आये, फिर मैं बाथरूम गई, मैंने देखा मेरे मकान मालिक के […]

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मासूम यौवना-6

लेखिका : कमला भट्टी तब मुझे पता चला कि मेरे जीजाजी में रीछ जैसी ताकत थी, मन ही मन में उनके प्रति प्रंशसा का भाव जगा। कुछ देर मेरे बदन पर लेटे रहने के बाद वो उठ कर बाथरूम में चले गए, मैं उठी तो मुझे लगा मेरी चूत सुन्न हो गई है, टटोल कर […]

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मासूम यौवना-7

होटल से खाना खाकर हम वापिस अपने कमरे में आ गए। मैं अपनी मैक्सी लेकर बाथरूम में चली गई बदलने के लिए, तब तक जीजाजी ने भी कपड़े उतार कर लुंगी लगा ली। मैं भी कमरे में आई और बत्ती बुझा कर लेट गई। मैंने कमरे में आते ही दरवाजा बंद कर दिया जबकि पिछली […]

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मासूम यौवना-8

लेखिका : कमला भट्टी जीजाजी को अपनी उखड़ी सांसें सही करने में 4-5 मिनट लगे फिर 2-3 लम्बी लम्बी सांसें लेकर वो बाथरूम की तरफ चले गए। मुझ से तो उठा ही नहीं जा रहा था, मेरा कई बार पानी निकल गया था। जीजाजी बाथरूम से वापिस आये और लेट गए। मैंने सरक कर उनके […]

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मासूम यौवना-9

मैंने पूछा- अबकी बार तो आपकी सारी इच्छाएँ पूरी हो गई ना? संतुष्ट हो ना ! वे बोले- मैं बहुत संतुष्ट हूँ ! मेरी ज़िन्दगी की ख्वाहिश पूरी हो गई, तुझे बहुत बहुत धन्यवाद ! मैं तेरा गुलाम हो गया जान ! जो तू मांगे वो हाज़िर है ! मैं हंस कर रह गई और […]

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मासूम यौवना-10

पिछली किश्त यानि मासूम यौवना-9 में आपने मेरे जीजाजी के घर में मेरी पहली चुदाई की दास्तान पढ़ी ! अब आगे : सुबह जल्दी उठ कर मैं नीचे चली गई, तब तक जीजाजी सो ही रहे थे, मेरा बेटा भी नींद में था। नीचे जाते ही मेरा सामना दीदी से हुआ और वो कुछ गौर […]

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मासूम यौवना-11

मैं जीजाजी के ही घर दो रात लगातार उन से चुद कर अगले दिन मैं वापिस अपने पीहर चली गई। जीजाजी खुद मुझे अपनी बाइक पर बिठा कर पर बस में बिठाने आये और मना करने के बाद थम्सअप की बोतल और काफी सारे फल लाकर दिए। 3-4 दिन के बाद मैं वापिस जयपुर चली […]

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मासूम यौवना-12

लेखिका : कमला भट्टी दीपावली के लिए घर जाने के लिए जीजाजी और मैंने साथ ही बस लेने का सोचा और हम दोनों बस स्टैण्ड पर आ गए पर जीजाजी तो कुछ और ही योजना बना कर आए थे। वे मुझे वहाँ से होटल ले गए। जीजाजी ने कमरे का दरवाज़ा खोला और हम कमरे […]

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मासूम यौवना-13

जीजाजी के जाने के बाद मैं मोबाईल पर सेक्सी वीडियो देखने लगी। इन वीडियो को देख कर मैं हैरान रह गई ! उनमें एक लड़की के साथ कई लडकों की, दैहिक शोषण की फिल्में, गुदा मैथुन, लड़कियों द्वारा आपस में सेक्स और मैं यहाँ जिस चीज का जिक्र नहीं कर सकती उनका सेक्स ! मैं […]

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मासूम यौवना-14

लेखिका : कमला भट्टी थोड़ी देर में वे बाहर आये, अब वे शांत लग रहे थे, उन्होंने कहा- अब फ्रेश होकर कपड़े पहन लो, खाना खाने चलते हैं। कमरे में तो यह पता ही नहीं चल रहा था की दिन है या रात पर घड़ी 7 बजा रही थी और मैं फटाफट नहाने चल दी। […]

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